उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में जयंत चौधरी, ओपी राजभर और अपने चाचा शिवपाल यादव को साथ लेकर उतरने वाले अखिलेश यादव हार के बाद अकेले पड़ते दिख रहे हैं। एक तरफ चाचा शिवपाल यादव के भाजपा में जाने की अटकलें लग रही हैं और वह सपा की मीटिंग में न बुलाए जाने को लेकर नाराज हैं तो वहीं दूसरी तरफ आजम खान का खेमा भी नाराज बताया जा रहा है। आजम खान सपा के सबसे बड़े मुस्लिम चेहरे रहे हैं और मुलायम सिंह यादव के बेहद करीबी थे। लंबे समय से वह कई मामलों में जेल में बंद हैं और उनके समर्थक अब खुलेआम नाराजगी जाहिर कर रहे हैं।
अखिलेश यादव पर आजम के करीबी ने साधा निशाना—
रामपुर में सपा के मीडिया प्रभारी फसाहत अली खान ने तो सीधे अखिलेश पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि मुस्लिमों को जब जेल भेजा गया और उनकी संपत्तियां जब्त की गईं तो अखिलेश यादव चुप बैठे रहे।
क्यों अखिलेश यादव के खिलाफ खुलकर बोल रहे लोग—
ऐसे में सवाल यह है कि अखिलेश यादव के खिलाफ इस तरह की बगावत होने की वजह क्या है? दरअसल समाजवादी पार्टी की यूपी चुनाव में करारी हार ने एक तरफ गठबंधन के साथियों में मतभेद पैदा कर दिए हैं तो वहीं पार्टी में भी अंदरखाने बागी सुर उभरने लगे हैं। इसकी वजह यह है कि समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव के पास अपने नेताओं को समाहित करने के लिए उपयुक्त पदों की कमी है।