हिंद-प्रशांत क्षेत्र में अब होगी चीन की घेराबंदी, क्वॉड में बाइडेन की इस बात से बढ़ेगा ड्रैगन का टेंशन

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क्वॉड देशों की शुक्रवार को हुई बैठक के दौरान  चीन को घेरने की प्लानिंग की गई। हिंद प्रशांत क्षेत्र में लगातार आक्रामक रवैया अपना रहे चीन को क्वॉड देशों ने अपने मंच से यह साफ संदेश दे दिया है कि अब उसकी दादागिरी के खिलाफ सब एकजुट होकर काम करेंगे। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने चीन का नाम लिए बगैर उसे कड़ा संदेश दिया तो वहीं पीएम मोदी को लेकर साकारात्मक रवैया दिखाया। इससे साफ है कि क्वॉड देशों को पहले से ही अपने खिलाफ साजिश के तौर पर देख रहा चीन अब इस बैठक के हो जाने के बाद जरूर चिढ़ेगा।

जो बाइडेन ने क्वॉड देशों के नेताओं से कहा कि एक खुला और मुक्त हिंद प्रशांत क्षेत्र उनके देशों के लिए जरूरी है। इतना ही नहीं बाइडेन ने यह भी कहा कि अमेरिकी इस क्षेत्र में स्थिरता लाने के लिए अपने सहयोगियों और साझेदारों के साथ मिलकर काम करने के लिए प्रतिबद्ध है। क्वॉड दरअसल चार देशों- भारत, जापान, ऑस्ट्रेलिया और अमेरिका का एक समूह है, जिसकी शुक्रवार को पहली बैठक हुई थी।

बाइडेन ने क्वॉड नेताओं के पहले डिजिटल सम्मेलन के दौरान कहा कि हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सहयोग के लिए ‘क्वॉड महत्वपूर्ण मंच बनने जा रहा है। उन्होंने कहा कि सहयोग बढ़ाने में ‘क्वॉड एक नया तंत्र बनकर उभरा है। इस सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और सदस्य देशों के अन्य नेताओं ने भी हिस्सा लिया। बाइडेन ने कहा, ‘क्वॉड हिंद-प्रशांत क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण होने जा रहा है और मैं आने वाले वर्षों में आप सभी के साथ मिलकर काम करने के लिए उत्सुक हूं।’

बाइडेन ने कहा, ‘हमारे देशों के लिए एक खुला और स्वतंत्र हिंद-प्रशांत क्षेत्र जरूरी है। यह समूह विशेष रूप से महत्वपूर्ण है क्योंकि यह व्यावहारिक समाधान और ठोस परिणामों के लिए समर्पित है।’

बाइडेन ने परोक्ष तौर पर चीन की ओर इशारा करते हुए कहा, ‘हम अपनी प्रतिबद्धताओं को जानते हैं … हमारा क्षेत्र अंतरराष्ट्रीय कानून द्वारा संचालित है, हम सभी सार्वभौमिक मूल्यों के लिए प्रतिबद्ध है और किसी दबाव से मुक्त हैं लेकिन मैं हमारी संभावना के बारे में आशावादी हूं।’

बाइडेन ने प्रधानमंत्री मोदी से कहा, ‘आपको देख कर बहुत अच्छा लगा।’

डिजिटल रूप से आयोजित इस सम्मेलन में ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री स्कॉट मॉरिसन और जापान के प्रधानमंत्री योशिहिदे सुगा भी शामिल हुए। क्वॉड के अन्य नेताओं ने भी हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सहयोग करने के लिए इसी तरह का उत्साह और इच्छा व्यक्त की।

ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री स्कॉट मॉरिसन ने चार देशों को काम करने के लिए एक साथ लाने के लिए बाइडेन को धन्यवाद दिया और कहा, ”इतिहास हमें सिखाता है कि हम एक जैसी उम्मीद और साझा मूल्यों की साझेदारी में एकजुट देश हैं और इससे बहुत कुछ हासिल किया जा सकता है।

जापानी प्रधानमंत्री सुगा ने 2004 की सुनामी आपदा को याद किया जब क्वाड सदस्य देश एक साथ आए थे। उन्होंने कहा, ‘हमें आपदा से निपटने में अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और भारत से बड़े पैमाने पर समर्थन मिला था।’

बता दें कि चीन, दक्षिण चीन सागर और पूर्वी चीन सागर में क्षेत्रीय विवादों में शामिल हैं। पूर्वी चीन सागर में जापान का चीन के साथ समुद्री विवाद है।

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