न्यूज़ डेस्क : (GBN24)
सुप्रीम कोर्ट से झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को एक बड़ी राहत मिली है. बतादें कि Hemant Soren की जमानत अब बनी रहेगी. दरअसल, जमानत आदेश में सुप्रीम कोर्ट ने दखल देने से इनकार कर दिया है. हाई कोर्ट से हेमंत सोरेन को मिली जमानत के खिलाफ शीर्ष अदालत ने ED की याचिका खारिज को खारिज कर दिया है. असल में झारखंड हाई कोर्ट के जमानत के आदेश के खिलाफ ED ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका डाली थी. हाईकोर्ट के इस आदेश पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हाईकोर्ट का यह फैसला अच्छा है. साथ ही कहा कि हम इस आदेश में दखल देने पर इच्छुक नहीं हैं.
31 जनवरी को गिरफ्तारी हुई थी
आपको बतादें कि भूमि घोटाले से जुड़े हुए मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में JMM यानी झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता हेमंत सोरेन को ईडी ने गिरफ्तार किया था. हालाँकि झारखंड के मुख्यमंत्री पद से गिरफ्तारी से पहले ही हेमंत सोरेन ने इस्तीफा दे दिया था. Hemant Soren ने हाई कोर्ट से मिली जमानत के बाद एक बार फिर से 4 जुलाई 2024 को सीएम पद की शपथ ली. वहीं हेमंत सोरेन को जमानत देते हुए झारखंड हाईकोर्ट ने यह कहा था कि इस मामले को देखते हुए याचिकाकर्ता के द्वारा समान प्रकृति का अपराध करने की कोई संभावना नहीं है.
हाई कोर्ट के आदेश को दी चुनौती
ईडी ने Hemant Soren की इस जमानत याचिका का विरोध करते हुए आरोप लगाया था कि इस राज्य की राजधानी में उन्होंने बड़गाम अंचल में 8.86 एकड़ जमीन को अवैध रूप से हासिल करने के लिए अपने मुख्यमंत्री के पद का दुरुपयोग किया था. बतादें कि ईडी के द्वारा यह दावा किया गया था कि जांच के वक्त Hemant Soren के मीडिया सलाहकार अभिषेक प्रसाद ने इस बात को स्वीकार किया था कि पूर्व मुख्यमंत्री ने उक्त भूखंड के स्वामित्व में कुछ बदलाव करने के लिए उन्हें जो आधिकारिक आंकड़ें हैं उनसे छेड़छाड़ करने के निर्देश दिए थे.
ईडी ने यह बोला था कि जिस समय भूखंड पर कब्जा करा जा रहा था, उस समय उसके जो असली मालिक थे राजकुमार पाहन उन्होंने शिकायत दर्ज कराने की कोशिश की, पर उस पर कभी भी कार्रवाई नहीं हुई. ईडी ने हाई कोर्ट के उस आदेश को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था.